शनिवार, 28 अप्रैल 2012

मेरी नयी कहानी " आबार एशो [ फिर आना ] "

आदरणीय गुरुजनों और मित्रो ;
नमस्कार ;

कृपया मेरी नयीकहानी " आबार एशो [ फिर आना ] " को पढकर अपनी बहुमूल्य राय दिजियेंगा . कहानी को मैंने बहुत प्रेम से लिखा है . अनिमा का जीवन किसी का भी हो सकता है. मैंने पूरी कहानी को एक cinematic visualization के साथ लिखा है , कहानी भी frame by frame चलती है . आपको अच्छी लगेंगी.


आपके भावपूर्ण कमेंट्स के इंतजार में…….!


आपका बहुत धन्यवाद. 

आपका अपना
विजय कुमार

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